Padchhaiya book and story is written by Dr.Chandni Agravat in Hindi . This story is getting good reader response on Matrubharti app and web since it is published free to read for all readers online. Padchhaiya is also popular in फिक्शन कहानी in Hindi and it is receiving from online readers very fast. Signup now to get access to this story.
परछाईया - उपन्यास
Dr.Chandni Agravat
द्वारा
हिंदी फिक्शन कहानी
प्रिय वाचक आपने मेरी कविता और कहानीओ को खुब सराहा अब आपके समक्ष ला रही हुं रोमांच से भरपुर एक धारावाहिक कहानी उम्मीद हे अप पसंद करेंगे।इस कहानी के सभी पात्र और घटनाक्रम काल्पनिक है, कहानी को रोमांचक बनाने के लिए स्थल का नाम प्रयोग कीया गया है जिसका वास्तविकता से कोई लेना देना नहीं है।रात के घने अंधेरे मै, एक लाल रंग की गाडी सन्नाटा चीरती हुई हवेली के पास खडी रही। सुमसाम रास्ते पे सोया हुआ कुत्ता गाडी की आवाज सुन अजीब तरह से रोने लगा।गाडी मे से सोफर उतरा और उसने पीछे का दरवाज़ा खोला।
प्रिय वाचक आपने मेरी कविता और कहानीओ को खुब सराहा अब आपके समक्ष ला रही हुं रोमांच से भरपुर एक धारावाहिक कहानी उम्मीद हे अप पसंद करेंगे।इस कहानी के सभी पात्र और घटनाक्रम काल्पनिक है, कहानी को रोमांचक बनाने ...और पढ़ेलिए स्थल का नाम प्रयोग कीया गया है जिसका वास्तविकता से कोई लेना देना नहीं है।रात के घने अंधेरे मै, एक लाल रंग की गाडी सन्नाटा चीरती हुई हवेली के पास खडी रही। सुमसाम रास्ते पे सोया हुआ कुत्ता गाडी की आवाज सुन अजीब तरह से रोने लगा।गाडी मे से सोफर उतरा और उसने पीछे का दरवाज़ा खोला।गाडी से एक
प्रिय वाचक अगर आपको मेरी रचना पसंद आये कृपीया अपना प्रतिभावा दे और मुझे फोलो करे यह मेरा होंसला बढाता है।*************************************जब उन्होने दरवाजा खोला देखा नीर्वा बेड के पास बेहोश पडी थी, उसकी साँस बहोत धीमी चल रही थी।उन्होने ...और पढ़ेतत्काल हास्पिटल पहुंचाया,, उसको हस्पताल मै भर्ती किया गया। थोडी देर बाद डोक्टर बहार आये और बोले " हार्ट नोर्मल है, सुगर भी, और.आप बोले ऐसे पेनिक अटेक भी नहीं है, इन्हे कीसी चीज की सीवयर एलर्जी हो गई है।सनत को याद आया, जब वह अंदर गए तो निर्वा के पास एक बुके पडा था। डोक्टर ने कहा" अब चिंता
पार्ट 3सनत को पता चल गया की उसकी तरकीब काम कर गई हैl उसे एक यही तरीका ठीक लगा जीससे बाप बेटी को मिल सकता है अपनी जीत छोड़कर,और मनोहर सिंह को निर्वा के पास ला सकता है ।दूसरे ...और पढ़ेजब उसे पता चला की मनोहर सिंह पहुंचने वाले हैं, तो वह डॉक्टर और नर्स से बात करके थोड़ी देर के लिए कहीं चला गया।जैसे ही मनोहर सिंह अस्पताल पहुंचा और निर्वा के कमरे में गया तो उसे इस हालत में देखकर वह टूट गया और जब डॉक्टर ने उसकी स्थिति बताइ तो उसको इतने साल अपनी बेटी से दूर
पार्ट 4जैसे ही डॉक्टर निर्वा के कान में कुछ बोला उसने आंखे खोली सब देखकर समझ तो शकती थी, तुरंत उसने वह.आवाज सुन के रिएक्ट किया, उसकी पल्स बहुत बढ़ गई और सांस फुलने लगी , यह देखकर मनोहरसिंह ...और पढ़ेडॉक्टर चिल्लाने लगे। नर्स और डॉक्टर आए और उसे सेडैटीव का इंजेक्शन दे दिया ,डॉक्टर ने बोला इसके आसपास किसी भी प्रकार की तनावपूर्ण बातें ना करें ।निर्वा गहरी नींद में जा पहुंची।मनोहर सिंह सोचने लगा की मुझे इतने सालों के बाद देखकर निर्वा की तबियत बिगड़ गई। सनत सायें की तरह उस डॉक्टर का पीछा कर रहा था ।वह
पार्ट 5उसे आवाज की गूंज आज भी निर्वा के कानों में दस्तक देती है बार-बार। इस घटना से घर में सन्नाटा छा गया निर्वा की मंगनी रुक गई ।कोई कुछ बोला नहीं पर निरर पर पाबंदियां य लग गई। ...और पढ़ेकोई उससे आंख फेर लेता। उसे बीना गुनाह के ही उसकी सजा मिल रही थी। दादी भी उससे रूठ गई थी।थोड़े दिनों के बाद यूके से फोन आया विराट की मा फोन पर सबको धमका रही थी कि मेरे बेटे की मौत आपकी वजह से हुई है उसने खुदकुशी नहीं कि आप लोगों ने उसे मार डाला मैं वहां आउंगी