दिया की कलम से इश्किया Divya Modh द्वारा कविता में हिंदी पीडीएफ होम किताबें हिंदी किताबें कविता किताबें दिया की कलम से इश्किया Diya ki kalam se ishqiya book and story is written by Shreya Mehta in Hindi . This story is getting good reader response on Matrubharti app and web since it is published free to read for all readers online. Diya ki kalam se ishqiya is also popular in Poems in Hindi and it is receiving from online readers very fast. Signup now to get access to this story. दिया की कलम से इश्किया Divya Modh द्वारा हिंदी कविता 1.8k 8k तुझे भूलाकर अब...तेरी यादों से निकलकर अब, में खुदमे खोना चाहती हूं तुझे भूलाकर अब ,में खुद को पाना चाहती हूं। चल जब गिनवा ही दी ...और पढ़े तूने मुझ को कमिया मेरी तो बिछड़कर तुझसे अब, में उन्ही कमियों को भरना चाहती हूं, तेरे लिए नहीं , अब, में खुद के लिए बदलना चाहती हूं।जागी ये आंखे कितनी बार तेरे लेट रिप्लाई और तेरे कॉल के इंत्तजार में,इन आंखो को अब मीठे सपनों की एक जपकी देना चाहती हूं,तुझे भूलाकर अब में खुद को पाना चाहती हूं।की थी जरा सी उम्मीद - ए वफा तुझसे मैने , बदले में अपने कम पढ़ें पढ़ें पूरी कहानी मोबाईल पर डाऊनलोड करें दिया की कलम से इश्किया अन्य रसप्रद विकल्प हिंदी लघुकथा हिंदी आध्यात्मिक कथा हिंदी फिक्शन कहानी हिंदी प्रेरक कथा हिंदी क्लासिक कहानियां हिंदी बाल कथाएँ हिंदी हास्य कथाएं हिंदी पत्रिका हिंदी कविता हिंदी यात्रा विशेष हिंदी महिला विशेष हिंदी नाटक हिंदी प्रेम कथाएँ हिंदी जासूसी कहानी हिंदी सामाजिक कहानियां हिंदी रोमांचक कहानियाँ हिंदी मानवीय विज्ञान हिंदी मनोविज्ञान हिंदी स्वास्थ्य हिंदी जीवनी हिंदी पकाने की विधि हिंदी पत्र हिंदी डरावनी कहानी हिंदी फिल्म समीक्षा हिंदी पौराणिक कथा हिंदी पुस्तक समीक्षाएं हिंदी थ्रिलर हिंदी कल्पित-विज्ञान हिंदी व्यापार हिंदी खेल हिंदी जानवरों हिंदी ज्योतिष शास्त्र हिंदी विज्ञान हिंदी कुछ भी